Chaitra Navratri 2023: जानें चैत्र नवरात्रि में रात में पूजा करने से क्या होता है लाभ और रात का महत्व

Publish Date: 22 Mar, 2023
Chaitra Navratri 2023: जानें चैत्र नवरात्रि में रात में पूजा करने से क्या होता है लाभ और रात का महत्व

Chaitra Navratri 2023:  चैत्र नवरात्रि आज से शुरु हो रही है। नवरात्रि में देवी के नौ स्वरूपों की पूजा होती है। नवरात्रि का अर्थ होता है नव यानी नौ और रात्रि का अर्थ होता है रात। इस तरह नवरात्रि का अर्थ हुआ नौ रातें। इन रातों में भक्त मां दुर्गा के अलग अलग रूपों की उपासना करके आशीर्वाद प्राप्त करते है। भारतीय परंपरा में ऐसे कई त्यौहार है। जो रात के समय मनाए जाते हैं। आज हम जानेंगे की नवरात्रि में रात क्या महत्व होता है?

जानें नवरात्रि में रात का महत्व

कहा जाता है प्राचीन काल में शक्ति और शिव की उपासना रात्रि में की जाती थी। ऋषि मुनि दिन की जगह रात में पूजा अर्चना करते थे। क्योंकि रात के समय चारों और शांति रहती है। रात्रि के समय कई प्रकार के अवरोध समाप्त हो जाते हैं। शांत माहौल में ईश्वर से संपर्क साधना आसान हो जाता है। इसलिए ऋषि मुनियों ने उपासना के लिए रात का समय ही उचित समझा।

रात के समय पूजा का लाभ

रात्रि का समय सिद्धि का प्रतीक समझा जाता है। दिन की अपेक्षा रात के समय को सिद्धियों के लिए अधिक महत्वपूर्ण माना जाता है। रात्रि के समय शांत वातावरण होता है शांत वातावरण में मंत्रजाप करने से विशेष लाभ की प्राप्ति होती है। रात्रि में पूजा करने से सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती है। आध्यात्मिक चिंतन और एकाग्रता के लिए शांत वातावरण की अधिक ज़रुरत होती है। इसलिए रात के समय शांतिपूर्ण वातावरण में मां दुर्गा के नौ रूपों की उपासना करने से मां का आशीर्वाद प्राप्त होता है।

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